माँ आपकी बहुत याद आती है
जब भी मैं पहले घबरा जाती थी, तो मां आप मुझे अपने गले लगा लेती थी,
अब जब भी मैं परेशान होती हूँ, तो अकेले एक कोने में बैठ के खूब सारा रो लेती हूँ,
माँ क्यों अपने मन की बात आप से नहीं कर पाती हूँ
माँ आपको गले लगाने का बहुत मन करता है | आपकी गोद पे अपना सर रखना चाहती हूँ,
माँ बहुत याद आता है वो पल जब मेरे सफल होने पर आपका दौड़ कर खुशी से गले लगाना ।
बहुत याद आता है, माँ आपका शिक्षक बनकर नई-नई बातें सिखाना अपना अनोखा ज्ञान देना ।
माँ बहुत याद आता है कभी दोस्त बन कर हँसी मजाक करना,
मेरे पागलपन के साथ और मेरे खुशियों के साथ शामिल होना,
माँ बहुत याद आता है, मेरी खामोशी को समझ लेना और आप मुझ से पूछते थे कि तुझे क्या हुआ है?
माँ बहुत याद आता है, कभी गुस्से से डाँट कर चुपके से पुकारना फिर सिर पर अपना स्नेह भरा हाथ फेरना ।
माँ मैं बहुत अकेली सी हो गई हूँ इस दुनिया की भीड़ में, आप फिर से मुझे अपनी दुनिया में वापस बुला लो,
वो अपना ममता का साया वो स्नेह भरा प्रेम मुझे दे दो…
Hi Hello,Namste ji ! My name is Anu Mehta, I live in district Kangra. I like to dance, write poetry, play badminton and cook in my spare time. Click on the link below to read my poetry and poetry. https://anumehta693.wordpress.com, https://anumehta0592.blogspot.com https://anumehtadiary.blogspot.com अगर आपको हमारी Anu Mehta's Diary Blogs पसंद आई है तो आप कमेंट करके बता सकते है आप हमारी पोस्ट अपने दोस्तों से भी शेयर कर सकते है| हम फिर नई कविता लेकर हाज़िर होंगे तब तक के लिए नमस्कार दोस्तों !
Monday, November 23, 2020
माँ
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Anu Mehta's Dairy,
माँ,
मेरी बेटी
मैं कुछ कह रही हूँ...............
यहाँ पर हूँ तो किसी वजह से
वो एक तू
और
दूसरी तेरी दोस्ती,
जिसे मैं खोना नहीं चाहती,
हर पल, हर मोड़ तू और तेरा साथ चाहिए
बहुत इंतज़ार किया, अब ओर ना होगा....
मुझे तुम से कुछ मांगना है,
plz मना मत करना
इस दुनिया में मुझे तुम से एक ही चीज चाहिए,
वो ना तो चाँदी है, ना ही सोना
बस तू और तेरा साथ चाहिए.......
जो हर पल मुझे एहसास हो,
तू और तेरा साथ............
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Anu Mehta's Diary
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